न मैंने आपको खोया, न आपने मुजको खोया था,
फिर भी न जाने क्यूँ आज में इतना रोया था,
कुछ भी न होते हुवे भी, क्यूँ आप को में याद करता था,
याद करते करते फिर पूरी रात न में सोया था,
आप के खयालो में क्यूँ, में आज इतना क्यूँ खोया था,
आपके ही खयालो ने मुझे, आज इतना जो दबोया था,
दिल की घहेराइयो से में एक आवाज ही सुनता था,
कंही थम जा ओ "राही", ये सुनके फिर में रोया था,
गलतीयो में में अपनी अब, खुद को संवर के आया था,
कान्हा जेक आपने कुछ कहे बिना ही मुझे छोड़ा था,
फिर न जाने क्यूँ आज में इतना रोया था,
न मैंने आपको खोया, न आपने मुजको खोया था,
-विरल ... "राही"
13-02-2013